November 22, 2024
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रायपुर। छत्तीसगढ़ में स्वास्थ्य विभाग से संबंधित फार्मैसी कौंसिल के दायरे में आने वाले मंडिकल स्टोर का काम अब नगरीय प्रशासन विभाग को देखने के लिए दिया गया है। केंद्र सरकार के द्वारा प्रदेश में जन औषधी केंद्र खोले गए थे उसी तर्ज पर राज्य सरकार श्री धनवंतरी मेडिकल स्टोर खोल रही है। जेनरिक दवा मिलने का यह स्थान एमआरपी से आधे कीमत में देने का दावा किया जा रहा है। जबकि केंद्र द्वारा संचालित जन औषधि केंद्र में आज भी मरीजों को दवाई 70 से 80 प्रतिशत छूट पर मिल रही है। केंद्र सरकार की स्पष्ट गाइडलाइन है कि सरकारी और ग़ैर-सरकारी डॉक्टर्स दवाओं का फ़ार्मूला लिखकर मरीजों को दें। प्रदेश सरकार को जेनेरिक दवाओं को प्रोत्साहित करने के लिए सरकारी डॉक्टर्स को फ़ार्मूला लिखने के लिए बाध्य करना चाहिए और इसी तरह निजी स्वास्थ्य संस्थानों व उनके डॉक्टर्स के लिए ऐसी गाइडलाइन तय करें ताकी जेनेरिक दवाओं का लाभ मरीजों को मिल सके। लेकिन ऐसा कोई निर्देश नहीं दिया गया है। डाक्टर्स ब्रांडेड दवा ही लिखते हैं, ऐसे में श्री धनवंतरी मेडिकल स्टोर में भी ताले लगने में देर नहीं लगेगी। पूरा कार्यक्रम संदेह के दायरे में हैं। प्रदेश में लगभग 101 जनऔषधि केंद्रों का लगातार बंद होने से सबक लेने के बजाय लोगों को गुमराह करने में लगी है। वैसे नगरीय प्रशासन मंत्री भी आयुर्वेद के डाॅक्टर हैं। उन्हें भी मालूम है कि आयुर्वेद डाॅक्टर्स अपना काम चलाने कैसे एलोपैथी का इस्तेमाल करते हैं। उन्हें इस बात पर मंथन करना चाहिए कि आखिर जन औषधि केंद्र क्यों नहीं चल पा रहे हैं। वहां पर साढ़े तीन सौ से अधिक दवाओं की सूची थी। अब डाक्टर्स ही नहीं लिखेंगे तो कौन फार्मासिस्ट इसे चलाने आगे आएगा।

HNS24 NEWS

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