भाजपा का सवाल….किस हैसियत से लगातार वीर पर बयानबाज़ी कर रहे सीएम
HNS24 NEWS October 17, 2019 0 COMMENTSरायपुर : दिनांक 17अक्टूबर2019, भारतीय जनता पार्टी चुनाव विधिक प्रकोष्ठ के प्रदेश संयोजक नरेशचंद्र गुप्ता ने प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के वीर सावरकर के खिलाफ लगातार अपशब्द कहने और भारत रत्न देने के वादे का विरोध करने को अपमानजनक बताया है।
गुप्ता ने कहा कि जिन वीर सावरकर को पूर्व प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी ने 20 मई 1980 को एक पत्र लिखकर महान राष्ट्रभक्त और वीर योध्दा कहा था। स्व. इंदिरा गांधी के ही शासनकाल में वीर सावरकर के सम्मान में भारत सरकार ने डाक टिकट जारी किया था। अब प्रदेश के मुख्यमंत्री बघेल यह तय करके बताएं कि वे अपने कथन को प्रामाणिक मानते हैं या पूर्व प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी के लिखे हुए पत्र को? मुख्यमंत्री बघेल सही बोल रहे हैं तो इसका साफ मतलब है कि स्व. श्रीमती गांधी ने झूठ कहा था और यदि स्व. श्रीमती गांधी सही थीं तो आज बघेल गलत बयानी कर राष्ट्रवाद और राष्ट्र, दोनों का अपमान कर रहे हैं। वीर सावरकर पर अपमानजनक टिप्पणी के लिए मुख्यमंत्री बघेल को समूचे देश से क्षमायाचना करनी चाहिए।
गुप्ता ने कहा कि सीएम को यह भी स्पष्ट करना चाहिए कि किस हैसियत से वे वीर सावरकर पर टिप्पणी कर रहे हैं। क्या उन्होंने कोई शोध किया है सावरकर पर या दो वामपंथी उन्हें जो लिखकर दे देते हैं उसे बिना समझ बूझ के उगल देते हैं? जिस वीर सावरकर की तस्वीर संसद में लगी है, जिनके सम्मान में डाक टिकट इंदिरा जी की सरकार ने जारी किया, जिस वीर सावरकर की तारीफ महात्मा गांधी तक करते नहीं थकते थे, उन पर लगातार अपमानजनक टिप्पणी करते रहना भूपेश जी को काफी छोटा बना रहा है। श्री गुप्ता ने कहा कि इतना विवेक लालू यादव में भी था कि वे भी वीर सावरकर के सम्मान में पत्र जारी कर उनकी स्मृति को सम्मानित करते थे, दुर्भाग्य है कि हमारे सीएम लालू से भी ज्यादा अविवेकी साबित हो रहे हैं। गुप्ता ने सवालिया लहजे में पूछा कि क्या भूपेश को सावरकर पर कीचड़ उछालने या उनकी भूमिका के बारे में सर्टीफ़िकेट देते रहने जनता ने चुना है? जिस काम के लिए सीएम को जनादेश मिला है, उसे कर पाने में असमर्थ होकर बौखलाहट में कुछ भी बोलते रहना भूपेश जी को शोभा नही देता।
गुप्ता ने कहा कि जिन वीर सावरकर को पूर्व प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी ने 20 मई 1980 को एक पत्र लिखकर महान राष्ट्रभक्त और वीर योध्दा कहा था। स्व. इंदिरा गांधी के ही शासनकाल में वीर सावरकर के सम्मान में भारत सरकार ने डाक टिकट जारी किया था। अब प्रदेश के मुख्यमंत्री बघेल यह तय करके बताएं कि वे अपने कथन को प्रामाणिक मानते हैं या पूर्व प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी के लिखे हुए पत्र को? मुख्यमंत्री बघेल सही बोल रहे हैं तो इसका साफ मतलब है कि स्व. श्रीमती गांधी ने झूठ कहा था और यदि स्व. श्रीमती गांधी सही थीं तो आज बघेल गलत बयानी कर राष्ट्रवाद और राष्ट्र, दोनों का अपमान कर रहे हैं। वीर सावरकर पर अपमानजनक टिप्पणी के लिए मुख्यमंत्री बघेल को समूचे देश से क्षमायाचना करनी चाहिए।
गुप्ता ने कहा कि सीएम को यह भी स्पष्ट करना चाहिए कि किस हैसियत से वे वीर सावरकर पर टिप्पणी कर रहे हैं। क्या उन्होंने कोई शोध किया है सावरकर पर या दो वामपंथी उन्हें जो लिखकर दे देते हैं उसे बिना समझ बूझ के उगल देते हैं? जिस वीर सावरकर की तस्वीर संसद में लगी है, जिनके सम्मान में डाक टिकट इंदिरा जी की सरकार ने जारी किया, जिस वीर सावरकर की तारीफ महात्मा गांधी तक करते नहीं थकते थे, उन पर लगातार अपमानजनक टिप्पणी करते रहना भूपेश जी को काफी छोटा बना रहा है। श्री गुप्ता ने कहा कि इतना विवेक लालू यादव में भी था कि वे भी वीर सावरकर के सम्मान में पत्र जारी कर उनकी स्मृति को सम्मानित करते थे, दुर्भाग्य है कि हमारे सीएम लालू से भी ज्यादा अविवेकी साबित हो रहे हैं। गुप्ता ने सवालिया लहजे में पूछा कि क्या भूपेश को सावरकर पर कीचड़ उछालने या उनकी भूमिका के बारे में सर्टीफ़िकेट देते रहने जनता ने चुना है? जिस काम के लिए सीएम को जनादेश मिला है, उसे कर पाने में असमर्थ होकर बौखलाहट में कुछ भी बोलते रहना भूपेश जी को शोभा नही देता।
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