November 25, 2024
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रायपुर। छत्‍तीसगढ़ में प्रवर्तन निदेशालय की कार्रवाई के बाद सियासत तेज हो गई है। ईडी की छापेमारी को लेकर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह के बीच न सिर्फ जुबानी जंग छिड़ गई है, बल्कि दोनाें ने एक दूसरे को मानहानि का मुकदमा करने की चेतावनी भी दी है। इतना ही नहीं, जहां पूर्व सीएम डॉ. रमन सिंह के बयान पर सीएम भूपेश बघेल ने प्रमाणित करने की चुनाैती दी है। वहीं डॉ. रमन सिंह ने भी भाजपा के कहने पर ईडी की कार्रवाई के बयान को प्रमाणित करने की चुनौती सीएम को दी है। ईडी की कार्रवाई पर सियासी बयानबाजी की शुरुआत पूर्व मुख्यमंत्री के बयानों से हुई थी। मुख्यमंत्री ने बुधवार को इस पर तगड़ा पलटवार किया। उन्होंने कहा कि डॉ. रमन सिंह गलत और आपत्तिजनक बयानबाजी कर रहे हैं। वे मुझ पर लगाए आरोपों को प्रमाणित करें। नहीं तो सार्वजनिक रूप से माफी मांगें। ऐसा नहीं करते हैं, तो मैं उनके खिलाफ कानून कार्यवाही करूंगा और मानहानि का दावा करूंगा।
जैजैपुर रवाना होने से पहले पुलिस लाइन हेलीपैड पर संवाददाताओं से चर्चा में मुख्यमंत्री ने ईडी की कार्रवाई से सरकार के डरने वाले रमन सिंह के बयान पर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, डर कौन रहा है? डर तो इनके मन में है। डरता कोई नहीं है। रमन सिंह बार-बार चुटकी लेते रहते हैं। इनका एक ही काम है, दिल्‍ली जाकर बार-बार शिकायत करते हैं। उन्होंने कहा, रमन सिंह ने जो बयान दिया है, वो घोर आपत्तिजनक है। वो कहते हैं कि सोनिया गांधी के एटीएम हैं। वो कहते हैं कि 25 रुपया टन कोयला में ले रहे हैं। इन आरोपों को प्रमाणित करें, अन्यथा सार्वजनिक रूप से माफी मांगें। नहीं तो उचित कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
अधिकारियों को डराना धमकाना बंद करें
उन्होंने कहा, रमन सिंह अधिकारियों को डराना धमकाना बंद करें। अधिकारियों को डराने का मतलब है कि रमन सिंह खुद डरे हुए हैं। उनको जमीनी हकीकत पता है। वे सही तरीके से चुनाव लड़ेंगे तो उनकी हालत जितनी थी उतनी भी नहीं रहने वाली है। इस कारण वे अपनी खीझ अधिकारियों पर उतार रहे हैं। 15 साल तक वही अधिकारी अच्छे थे। अब सरकार में नहीं हैं, तो वही अधिकारी खराब हो गए। अधिकारी अपना काम कर रहे हैं। उनको जो जिम्मेदारी दी गई है, उसपर कार्रवाई कर रहे हैं। इसलिए उनको धमकाना चमकाना बंद करें।
हमारी सरकार ने की है कार्रवाई
मुख्यमंत्री ने कहा, हमारी सरकार ने कोलवाशरी के खिलाफ कार्रवाई की। सभी जगह छापा डाले। रमन सिंह बताएं 15 साल में ऐसी कोई कार्रवाई की हो तो। वैसे भी कोयला तो सेंट्रल गवर्नमेंट का है। राज्य सरकार की इसमें क्या भूमिका है। खदान केंद्र आवंटित करती है। यहां 58 खदानों में से 52 तो एसईसीएल का है। प्राइवेट तो बंद ही हो गये थे। अब तो दो-चार शुरू हुए हैं। उद्योगों को कोयला नहीं मिल रहा है। इसके बारे में रमन सिंह क्यों नहीं पूछते। हमने भी कोलवाशरी पर कार्रवाई की। क्या हमने उसका कोई पॉलिटिकल लाभ लिया। क्या इस प्रकार का कोई बयान दिया? हमको पता है कि कौन किससे जुड़ा हुआ है लेकिन हमने उसको राजनीति से नहीं जोड़ा।
रमन बोले- एक नहीं 10 केस कीजिए
सीएम के बयान के बाद इसे लेकर पूर्व सीएम डॉ. रमन सिंह की प्रतिक्रिया भी सामने आई। उन्होंने ट्विट कर कहा कि सीएम भूपेश बघेलजी, छत्तीसगढ़ महतारी को लूटने वाले भ्रष्ट अधिकारियों को बचाने आप मुझे मानहानि की धमकी दे रहे हैं। तो सुन लीजिए। एक नहीं 10 केस कीजिए। आप कहते हैं कि भाजपा के कहनेसे ईडी आती है, तो साक्ष्य लाइए। यदि प्रमाणित नहीं कर सके तो मैं आप पर मानहानि का दावा करूंगा। इससे पहले एक अन्य ट्विट में उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जी खोखली धमकियां नहीं, अब आपको प्रदेश की जनता को जवाब देना होगा। जहां तक कानूनी कार्रवाई की बात है, तो स्मरण रहे मैं भारतीय जनता पार्टी का कार्यकर्ता हूं। ना मैं डरूंगा, ना मैं झुकूंगा । सच बोला है सच बोलता रहूंगा।

HNS24 NEWS

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