रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने राजस्व के मामलों के लंबित होने पर नाराजगी जताई है। उन्होंने कहा, लोगों की सुविधा के लिए राजस्व से जुड़े मामलों को पूरी प्राथमिकता के साथ निराकरण करें। उन्होंने अविवादित नामांतरण एवं बंटवारे के लंबित राजस्व प्रकरणों को संभाग कमिश्नरों को नगरीय निकाय स्तर पर निराकरण के निर्देश दिए। उन्होंने कहा, किसानों के छोटे-छोटे काम होते हैं, जिसे लेकर बार-बार सरकारी दफ्तर के चक्कर काटने पड़ते हैं। विशेष रूप से अभियान चला कर दो माह में निराकृत करने के निर्देश दिए।
मुख्यमंत्री ने मंगलवार को अपने निवास कार्यालय में राजस्व विभाग की समीक्षा के दौरान अविवादित नामांतरण एवं बंटवारे के लंबित राजस्व प्रकरणों के शीघ्र निराकरण के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा कि जमीन के सीमांकन संबंधित प्रकरणों का 31 मई तक निपटारा करें, साथ ही भू-अभिलेखों के दुरूस्तीकरण संबंधित प्रकरणों का विशेष रूप से अभियान चला कर दो माह में निराकृत करें। इसमें नक्शा बटांकन, अभिलेख दुरूस्तीकरण जैसे लंबित प्रकरण शामिल हैं। उन्होंने पटवारियों की मुख्यालय पर उपस्थिति सुनिश्चित करने और तहसीलों में रिक्त पदों की भर्ती जल्द करने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री ने अविवादित नामांतरण, बटवारा, सीमांकन, व्यपर्वतन के प्रकरणों के समय सीमा में निराकरण हेतु कलेक्टरों को पत्र लिखने के निर्देश राजस्व सचिव को दिए। मुख्यमंत्री ने नजूल और स्लम पट्टों में हितग्राहियों को भू-स्वामी अधिकार प्रदान करने के कार्य में तेजी लाने के निर्देश दिए। बैठक में राजस्व मंत्री जयसिंह अग्रवाल, मुख्य सचिव अमिताभ जैन, अपर मुख्य सचिव सुब्रत साहू, राजस्व सचिव एनएन एक्का, संचालक भू-अभिलेख धर्मेश साहू, मुख्यमंत्री की उपसचिव सौम्या चौरसिया, संचालक जनसम्पर्क सौमिल रंजन चौबे उपस्थित थे।
निराकरण रिपोर्ट शासन काे भेजें
बैठक में जानकारी दी गई कि कमिश्नर ग्रामीण क्षेत्रों में भ्रमण कर ग्रामीणों से सीधे मुलाकात कर राजस्व प्रकरणों के निराकरण की स्थिति की जानकारी ले रहे हैं। मुख्यमंत्री ने इसकी सराहना करते हुए कहा, 7500 वर्गफुट तक की भूमि के आबंटन, व्यवस्थापन, फ्रीहोल्ड करने तथा भू-भाटक प्रकरणों के निराकरण की समीक्षा कमिश्नरों द्वारा जिला प्रवास के दौरान की जाए और इसका प्रतिवेदन राज्य शासन के भेजा जाए।
वृक्षों की कटाई नियमों में संशाेधन की दें जानकारी
उन्होंने ग्रामीण और नगरीय क्षेत्रों में आबादी पट्टों के वितरण की जानकारी अद्यतन करने और कलेक्टरों से जिले में नारंगी भूमि की जानकारी मंगाने के निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने कहा, राज्य सरकार द्वारा भू-स्वामियों की जमीन पर स्थित वृक्ष कटाई के नियमों का सरलीकरण किया गया है। स्वयं की भूमि पर रोपित वृक्षों की कटाई के लिए भू-स्वामी को एसडीएम को सूचना देनी होगी। यदि वृक्ष प्राकृतिक रूप से उगे हैं, तो इसकी कटाई के लिए भू-स्वामी को एसडीएम से लिखित अनुमति लेनी होगी। नियमों में संशोधनों का प्रचार-प्रसार किया जाए ताकि जरूरतमंद लोगों को इसका लाभ मिल सके।
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