रायपुर : भाजपा के पूर्व किसान मोर्चा प्रदेश अध्यक्ष संदीप शर्मा ने प्रदेश सरकार द्वारा किसानों के नाम पर की जा रही राजनीति की निंदा करते हुए कहा कि प्रदेश सरकार केन्द्र सरकार पर सवाल उठाने के पहले प्रदेश के किसानों से किए गए वादे पूरे करे और कर्ज माफी के नाम पर भोले-भाले किसानों से की गई ठगी के लिए प्रायश्चित करे। श्री शर्मा ने किसानों की 14 अक्टूबर की ‘तगादा रैली’ के समर्थन की बात कही है।
पूर्व किसान मोर्चा अध्यक्ष शर्मा ने कहा कि केन्द्र सरकार किसान सम्मान निधि को लेकर भ्रामक दुष्प्रचार करने पर आमादा है। प्रदेश कांग्रेस के नेताओं को किसानों के साथ की गई धोखाधड़ी पर लज्जित होना चाहिए। बजाय इसके वे केन्द्र की प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली राजग सरकार की नीयत और किसान सम्मान निधि योजना पर झूठ का रायता फैलाकर प्रदेश के किसानों का ध्यान भटकाने की कोशिश कर रहे हैं। किसानों की कर्जमाफी के नाम पर छलावा करने वाली प्रदेश की कांग्रेस सरकार को हर किसान का हर कर्जा माफ करना था, फसल नुकसान का मुआवजा और शेष दो वर्षों का धान बोनस भी देना है। उन्होंने पूछा कि 10 दिनों में कर्जा माफी का शोर मचाकर अपने ही मुंह मियां मिठ्ठू बनते कांग्रेस के नेता इन वादों पर कब अमल करेंगे? कांग्रेस सरकार अपनी वादाखिलाफी पर मुंह चुराने का काम न करे।
शर्मा ने कहा कि कर्जमाफी का ढोंग रचने वाली कांग्रेस सरकार और उसका शोर मचाते मुख्यमंत्री ने प्रदेश के किसानों को जबरदस्त मुसीबत में डाल दिया है। कर्जमाफी के नाम लिंकिंग में धान बेचकर जमा की गई कर्ज-राशि वापस लौटाकर सरकार ने खूब सियासी हंगामा किया लेकिन कांग्रेसी वादे के ढोल की पोल तब खुली जब खेती का समय आया और खाद-बीज के लिए सोसायटी पहुंचे तो 2017 का कर्ज ब्याज सहित जमा करने पर ही खाद-बीज, ऋण देने की बात कही गई। विवश होकर कहीं से व्यवस्था कर किसानों ने 2017 का कर्ज ब्याज सहित जमा किया और जो किसान ऐसा नहीं कर सके उन्हें आज भी खाद-बीज एवं ऋण से वंचित रखा गया है। यह न केवल उपभोक्ता सिध्दांतों के विपरीत है अपितु अनैतिक भी हैै। 10 दिनों में सभी किसानों का पूरा कर्ज माफ करने का वादा कर सत्ता में आई सरकार ने न सिर्फ सहकारी बैंकों के किसानों के साथ 2017 के ऋण का ब्याज सहित वसूली कर वादाखिलाफी की है वरन राष्ट्रीयकृत बैंकों के लिए स्वयं द्वारा तय की गई सीमा की पूरी राशि भी आज तक नहीं दी है। निजी बैंक के केसीसी धारकों का एक रुपये का कर्जा भी माफ नहीं किया गया है। किसानों की कर्ज माफी आधी-अधूरी है और सरकार इसे पूरा करने के बजाय बड़े-बड़े होर्डिंग्स लगाकर वाहवाही लूट रही है।
शर्मा ने यह भी कहा कि अनियमित वर्षा के चलते फसल नुकसान की पीड़ा विलंब वर्षा से काफी बड़े क्षेत्र में फसल को नुकसान हुआ है, सितम्बर में अच्छी वर्षा के बावजूद बड़े क्षेत्र की फसल में सुधार संभव नहीं था। मौसम की मार झेल रहे किसानों को तत्काल फसल नुकसान का मुआवजा दिया जाना चाहिए। आज किसान आर्थिक संकट में है ऐसे समय में दो सालों का बोनस भुगतान कर सरकार को किसानों को राहत देने के साथ चुनावी वादा पूरा करना चाहिए। शर्मा ने कहा कि प्रदेश सरकार के राजनीतिक स्वांग को बेनकाब करने और वादाखिलाफी पर आवाज बुलंद करने के लिए किसानों की ओर से जिला किसान संघ के बैनर तले सड़क की लड़ाई लड़ी जा रही है और आगामी 14 अक्टूबर को राजनांदगांव में जिला कार्यालय के सामने ‘तगादा रैली’ का आयोजन किया जा रहा है। भाजपा किसानों की व्यथा को समझती है और उनके हर संघर्ष में उनके साथ खड़ी है।